Monsoon:यूपी में गर्मी का कहर जारी, हीट वेव का रेड अलर्ट,17 जून तक मॉनसून की उम्मीद
Monsoon: उत्तर प्रदेश में भीषण गर्मी और लू का प्रकोप थमने का नाम नहीं ले रहा है। गुरुवार को बादलों की मौजूदगी के बावजूद मौसम विभाग ने हीट वेव का रेड अलर्ट जारी किया।
पूर्वी हवाओं के बावजूद लू की तीव्रता ने लोगों को परेशान किया। नमी का स्तर बढ़ने से हीट इंडेक्स 64 तक पहुंच गया, जिससे गर्मी का अहसास और असहनीय हो गया।
मौसम विभाग के अनुसार, शुक्रवार और शनिवार को भी हीट वेव का प्रकोप जारी रहेगा।तापमान में उछाल, रातें भी गर्म पश्चिमी विक्षोभ से राहत की उम्मीद थी, लेकिन बादलों की आवाजाही के बावजूद तापमान में कमी के बजाय बढ़ोतरी दर्ज की गई।
प्रदेश के अधिकांश जिलों में तापमान 41.9 डिग्री से बढ़कर 43.1 डिग्री सेल्सियस तक पहुंच गया, जो सामान्य से 5.3 डिग्री अधिक है।
रात का तापमान भी कई शहरों में 30 डिग्री से ऊपर रहा। कानपुर में सबसे गर्म रात दर्ज की गई, जबकि आगरा, अयोध्या, बहराइच, बलिया, हरदोई और बुलंदशहर में भी रातें गर्म रहीं।
आगरा में तापमान 44.6 और प्रयागराज में 44 डिग्री सेल्सियस रहा।
नमी ने बढ़ाई परेशानी
कानपुर में सुबह से ही लू का असर इतना तीव्र था कि दोपहर में बाहर निकलना मुश्किल हो गया। नमी का स्तर अधिकतम 56% और न्यूनतम 35% रहा, जिसके कारण हीट इंडेक्स 64 तक पहुंच गया।
मौसम विशेषज्ञों के अनुसार, नमी और तापमान का यह मिश्रण गर्मी को और खतरनाक बना रहा है।
कब मिलेगी राहत?
मौसम विशेषज्ञों का कहना है कि फिलहाल गर्मी से राहत की कोई संभावना नहीं है। शुक्रवार को भी हीट वेव का अलर्ट जारी रहेगा।
शनिवार के बाद यदि पश्चिमी विक्षोभ सक्रिय होता है, तो आंधी और बारिश की संभावना बन सकती है, लेकिन मौसमी चक्र में आ रही बाधाएं राहत की उम्मीदों को कम कर रही हैं।
17 जून तक मॉनसून की दस्तक
मानसून की प्रगति को लेकर अच्छी खबर है। बंगाल की खाड़ी में बने कम दबाव के क्षेत्र के कारण मानसून तेजी से आगे बढ़ रहा है।
मौसम विभाग का अनुमान है कि 17 जून तक मानसून उत्तर प्रदेश के पूर्वी छोर से प्रवेश करेगा। इसके बाद मानसून तेजी से पूरे प्रदेश में फैल सकता है, जिससे गर्मी से राहत मिलने की उम्मीद है।
लोगों को सावधानी बरतने की सलाह
मौसम विभाग ने लोगों से भीषण गर्मी और लू से बचने के लिए सावधानी बरतने की अपील की है। पर्याप्त पानी पीने, हल्के कपड़े पहनने और दोपहर में बाहर निकलने से बचने की सलाह दी गई है। खासकर बच्चों और बुजुर्गों का विशेष ध्यान रखने की जरूरत है।